Khamoshi Shayari: नमस्कार दोस्तो, हमेशा की तरह आज फिर से हाजिर है एक नए पोस्ट के साथ जिसका टाइटल है खामोशी शायरी। हम उम्मीद करते है की ये पोस्ट आपको अच्छी लगेगी और आप इसे अपने दोस्तो के साथ जरूर शेयर करेंगे।
खामोशी बेहिसाब नहीं होती,
दर्द आवाज छिन लेता है।
अधूरी कहानी पर खामोश होठों का पहरा है,
चोट रूह की है इसलिए दर्द जरा गहरा है।
इतना दर्द तो मुझे मरने से भी नही होगा,
जितना दर्द तुम्हारी खामोशी ने दिया है।
मुझे वहाँ से पढ़िए,
जहाँ से मैं ख़ामोश हूँ।
तेरे खामोश होठों पर मोहब्बत गुनगुनाती है,
तू मेरी है मैं तेरा हूँ बस यही आवाज आती है।
खामोशी शायरी
जज़्बात कहते हैं खामोशी से बसर हो जाए,
दर्द की ज़िद्द है कि दुनिया को खबर हो जाए।
ख़ामोश नजरे,ख़ामोश दिल है
ये तेरा नहीं हाँ मेरा दिल है।
जब हो थोड़ी फुर्सत मन की बात कह देना,
बहुत खामोश रिश्ते कभी जिंदा नहीं रहते।
नराजगी हर मसले का हल नहीं हुआ करती,
अपनो को तो खामोशी ही मार देती है।
इतने ख़ामोश मत रहा करो,
अगर इश्क़ है तो कहां करो।
Khamoshi Shayari in Hindi
सोचा था बतायेंगे सारा दर्द सारी शिकायतें तुमको,
पर तुमने ये भी ना पूछा कि ख़ामोश क्यों हो।
तेरी ख़ामोशी ग़र तेरी मज़बूरी है,
तो रहने दे इश्क़ भी कौन सा ज़रूरी है।
ख़ामोशी से जब भर जाओगे,
थोड़ा चीख़ लेना वरना मर जाओगे।
क्या लिखूँ दिल की हकीकत आरज़ू बेहोश है,
ख़त पर हैं आँसू गिरे और कलम खामोश है।
खामोश रास्तो में तेरा साथ चाहिए,
तन्हा है मेरा हाथ तेरा हाथ चाहिए।
Shayari on Khamoshi
हम भी खामोश होकर तेरा सब्र आज़माएंगे,
देखते हैं तुझे अब हम कब याद आएंगे।
उदासी और ख़ामोशी भरी इक शाम आएगी,
मेरी तस्वीर रख लेना तुम्हारे काम आएगी।
उदासी और खामोशी भरी एक शाम आएगी,
मेरी तस्वीर रख लेना तुम्हारे काम आएगी।
नशा-ए-मोहब्बत इस क़दर चढ़ा है हमको,
कि ना अब ये दिन की खुमारी है भाती ना रातों की ख़ामोशी।
ख़ामोश रहो तड़पते रहो मरते रहो पर ज़िंदा भी रहो,
यह इश्क़ का मूल नियम है इश्क़ है तो इश्क़ करते रहो।
Khamoshi Shayari Hindi
ज़ाया ना कर अपने अल्फाज़ हर किसी के लिए,
बस ख़ामोश रह कर देख तुझे समझता कौन है।
ये तुम्हारी ही सजा की इन्तहा थी,
तुम थे मेरे सामने और खामोशी बेइन्तहा थी।
कभी खुशियां तो कभी गम का सफ़र रहता है,
मेरे अन्दर भी एक ख़ामोश सा शहर रहता है।
उसकी आँखें भी कमाल करती हैं,
ख़ामोश रहती हैं और सवाल करती हैं।
यानी की ये खामोशी भी काम की नही
यानी की अब बयां करके बताऊं की मैं उदास हूं।
Shayari Raat ki Khamoshi
सोचता हूँ क्या बताऊंगा उनको,
जिनको मैंने तुम्हें अपना बता रखा है।
जुबान और जवाब तो हमारे पास भी थे,
पर परवरिश ही ऐसी थी कि हम खामोश थे
ख़ूबसूरत दिलों की ख़ामोश अदा होती है,
तुम्हे क्या बताऊँ मोहब्बत क्या होती है।
जज़्बात कहते हैं खामोशी से बसर हो जाए,
दर्द की ज़िद्द है कि दुनिया को खबर हो जाए।
ख़ामोशी गवाह है,
इंसान थक चुका है।
नराजगी हर मसले का हल नहीं हुआ करती,
अपनो को तो खामोशी ही मार देती है।
अल्फ़ाज़ के कुछ तो कंकर फ़ेंको ,
यहाँ झील सी गहरी ख़ामोशी है।
यहां सब खामोश हैं कोई आवाज नहीं करता,
सच बोलकर कोई किसी को नाराज नहीं करता।
कुछ खामोश सा है हमारा चाँद आजकल,
कहीं ऐसा तो नहीं कि धरती छोड़ मंगल के चक्कर मे पड़ गया हो।
बहुत खामोश से हैं लोग, कुछ बात तो है,
तूफान होगा इनके भी अंदर बड़े जो हो गए हैं।
ख़ामोश लब क्यों हैं आज तेरे ये बोलने वाले,
कहीं ऐसा तो नहीं ये खमोशी है तूफान की इशारा।
लब्ज़ खमोश हैं आज,
आंखों से मारने का इरादा तो नहीं।
तुझसे बातें करनी तो बहुत थी,
तू सामनें जब आयी मुझे खमोशी ही बेहतर लगी।
मेरी हर खामोशी को कमजोरी समझता है,
इश्क़ कितना है उससे गर ये समझ जाए तो बेहतर रहता।
मेरी खामोशी से तुम नाराज ना हुआ करना,
हालात से हारे हुए लोग अक्सर खामोश रहते है।
मेरी खामोशी देखकर मुझसे ये जमाना बोला कि,
तेरी संजीदगी बताती है तुझे हँसने का शोक था कभी।
चुभता तो बहुत कुछ मुझको भी है तीर की तरह,
मगर ख़ामोश रहता हूँ अपनी तक़दीर की तरह।
जज्बात कहते हैं खामोशी से बसर हो जाएँ,
दर्द की ज़िद हैं कि दुनिया को खबर हो जाएँ।
ख़ामोश लब हैं झुकी हैं पलकें दिलों में उल्फ़त नई-नई है,
अभी तक़ल्लुफ़ है गुफ़्तगू में अभी मोहब्बत नई-नई हैं।
जब इंसान अंदर से टूट जाता है तो,
बाहर से खामोश हो जाता है।
नजर खा गई हम दोनों की मोहब्बत को,
रोज बात करने वाले अब खामोश रहते हैं।
मेरी खामोशी का एहतराम कीजिए,
मेरे अल्फाज आप सह नहीं पाएंगे।
कभी खामोश तो कभी खयालों मैं गुम रहता हूं,
मैं मोहब्बत की दौलत से हमेशा महरूम रहता हु।
मेरी खामोशी के पीछे कुछ दर्द है,
कुछ जख्म है गहरे कुछ मोहब्बत के कर्ज है।
में ख़ामोश हो चुका था क्यूँकि वो मशरूफ हो चुकी थी,
बहुत कुछ पाने की ज़िद में वो मुझको खो चुकी थी।
इश्क करते है तुमसे इसलिए खामोश है अबतक,
खुदा न करे मेरे लब खुले और तुम बर्बाद हो जाओ।
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