Tuta Dil Shayari: नमस्कार दोस्तों हमेशा की तरह आज फिर से हाजिर है एक नए पोस्ट के साथ जिसका टाइटल है टूटा हुआ दिल शायरी। हम उम्मीद करते है की ये पोस्ट आपको अच्छी लगेगी और आप इसे अपने दोस्तो के साथ जरूर शेयर करेंगे।
हम वो नही हो पहचान छुपा ले,
एक चेहरे पर दूसरा चेहरा लगा ले।
कुछ तो खोया है उसने भी मेरी तरह,
मैंने चाहत गवाई तो उसने बेहद चाहने वाला।
मेरी मोहब्बत को इस तरह हां कहा उसने,
मेरी मां को मां कहा उसने।
मुहब्बत तो सिर्फ शब्द है इसके एहसास तुम हो,
शब्द तो सिर्फ नुमाइश है मेरे जज्बात तुम हो।
शिद्दत से चाहा जिसे फिर भी आरजू हुई ना पूरी,
इश्क था नामुकमल मेरा जुस्तजू रह गई अधूरी।
Dil Tuta Shayari hindi
है मुझ मैं कुछ खामियां तो शिकायत किया है,
तन्हा हूं बेवफाई के शहर मैं यहा वफा क्या है।
बहुत हक दिया है उसे इस दिल से खेलने के लिए,
अब वो खेले या तोड़े जो होगा जब मान लेंगे।
फासले है जो ये बेवजह के वो कभी कम नही होते,
होती है रूह की मोहब्बत जिससे वो कभी एक नही होते।
उसने हर नशा सामने लाकर रख दिया और कहा,
सबसे बुरी लत कौन सी हैं मैने कहा तेरे प्यार की।
बात कहने का अंदाज़ भी खूबसूरत होना चाहिए,
ताकि आपको जवाब भी खूबसूरत मिले।
Tuta Hua Dil ki Shayari
दिल की चोटों ने कभी चैन से रहने न दिया,
जब चली सर्द हवा मैंने तुझे याद किया।
इतना सर्द भी ना हुआ कर ऐ मौसम,
हर किसी के पास मेहबूब नहीं होता।
तुझसे एक मुलाकात की ख्वाहिश है,
यूं तो मेरे फ़ोन में तेरी तस्वीर बहुत हैं।
आप ही अपनी अदाओं पे जरा गौर करें,
हम अगर अर्ज करेंगे तो शिकायत होगी।
इतना शौंक मत रखो इन इश्क की गलियों में जाने का,
क़सम से रास्ता जाने का है आने का नहीं।
Shayari Dil Tuta
तेरे मेरे मोहब्बत की कुछ ऐसे शुरुआत हो जाए,
तुम्हारे निगाहो के तीर मेरे जिगर के पार हो जाए।
हर जुल्म -ओ -सितम ख़ामोशी से ज़ब्त किये जायेगें,
बेशक जिंदा लाश बना दो फिर भी तुमसे ही मोहब्बत किये जायेगें।
मत जाना छोड़ कर कभी इन हाथों को,
जाने कितनी दुआ मांगी है खुदा से तुम्हारे लिए।
जी भर के जुल्म कर लो क्या पता,
मेरे जैसा फिर कोई तुम्हे मिले ना मिले।
मैंने तो बस उसको पाने की ज़िद्द की थी,
मेरा खुद को खोने का कोई इरादा नहीं था।
ना पढ सकेगा कोई मेरे दिल की हकिकत,
हर पन्ना भरा है और लिखा कुछ भी नहीं।
अजीब सा जहर है उसकी यादों में,
मरते मरते मुझे सारी ज़िन्दगी लगेगी।
अपने उसूल कभी यूं भी तोड़ने पड़े,
खता उसकी थी हाथ मुझे जोड़ने पड़े।
तुझे मेरी हकिकत का पता कुछ भी नहीं,
इलजाम हजारो हैं और खता कुछ भी नहीं।
इक लापरवाह सी नज़र की परवाह कर बैठे,
और सुकून भरी जिंदगी को तबाह कर बैठे।
बेवफा़ यार को भी सीने से लगा रखा है,
हम जैसो ने मोहब्बत को सर चढा़ रखा है।
मंजिलों से बेगाना आज भी सफ़र मेरा,
है रात बेशहर मेरी है दर्द बेअसर मेरा।
वो क्या रोयेगी मेरे दर्द पर जिसका,
दिल फ़िदा है किसी और मर्द पर।
ख़ामोशी से सब कह दिया ये सलीका था मेरा,
तुम सुन कर समझ न पाया वो तरीका था तेरा।
देख ली तेरी ईमानदारी ऐ दिल,
तू मेरा और फ़िक्र किसी और की।
तेरे लिए ही हर वक्त लबों पर दुआ क्यों है,
अगर इतनी ही मोहब्बत है तो हम जुदा क्यों हैं।
आज कोई अजनबी ख़ास हो रहा है,
दिल को मोहब्बत का एहसास हो रहा है।
जिंदगी का खेल शतरंज से भी मज़ेदार रहा,
मैं ये खेल हारा भी तो अपनी ही रानी से।
अब के वो बे सबब ही रूठी है,
अब मनाना बहुत जरूरी है।
आहिस्ता आहिस्ता खत्म हो,
जाएंगे ग़म न सही हम ही सही।
ज़ुबान लड़ाना तो जाहिलो का काम है,
आप तो समझदार है आँख लड़ाईये।
तुम तो मुझे रुलाकर दूर चले गये,
मै किससे पूछूँ मेरी खता क्या है।
बहुत प्यार आता है उस पर जब वो रोते हुए कहती हैं,
बहुत मारुंगी अगर मुझे छोड़कर गए तो।
होगा तुझे भी मेरी कमी का एहसास,
एक बार मुझे मर तो जाने दे।
मुझसे मत पुछ ठिकाना मेरा,
तुझ में ही लापता हूँ कही।
हम उस तकदीर के सबसे पसंदीदा खिलौने हैं,
वो रोज़ जोड़ती है मुझे फिर से तोड़ने के लिए।
माना कि सादगी का दौर नहीं,
पर सादगी से अच्छा कुछ और नहीं।
हमें पता है तुम कहीं और के मुसाफिर हो,
हमारा शहर तो बस यूँ ही रास्ते में आया था।
एक तुम को ना जीत सके हम तुम को,
उम्र बीत गयी खुद को कप्तान कहते कहते।
एक तरफा ही सही प्यार तो प्यार है,
उसे हो ना हो मुझे तो बेशुमार है।
जा चुके होतो लौट कर भी मत आना,
रिसता गया भाड़ में तुम मेरी मौत पर भी मत आना।
जिनके लिए हम रोते हैं वो किसी और की बाहों में सोते हैं,
हम जिंदा गए करीब उनके अब देखो मरे हुए लौटे हैं।
अब नही होती किसी से भी परेशानी मुझे,
कितनी मुश्किल से हुई हासिल ये आसानी मुझे।
तू हज़ार बार भी रूठे तो मना लूँगा तुझे,
मगर देख मोहब्बत में शामिल कोई दूसरा ना हो।
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